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\stitle{mastii hai chhaa_ii}%
\film{non-Film}%
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\singer{Hemant}%
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% Contributor: Prithviraj Dasgupta
% Date: 10th March, 2000
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% Credits:
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मस्ती है छाई बसन्ती पवन पर
बिखरा हुआ है सोना गगन पर
बिखरा हुआ है
डूब रहा है किरणवाला
बैठी है इक बृज की बाला
जमना किनारे हाँ जमना किनारे ##...##

हृदय का आँचल पथ पे बिछाए
नैनों में आशा के दीप जलाए
हाथों में ले कर फूलों की माला
बैठी है इक ब्रज की बाला
जमना किनारे हाँ जमना किनारे ##...##

रह रह के इत उत देख रही है
मन ही मन कछु सोच रही है
न जाने है कौन आनेवाला
जमना किनारे हाँ जमना किनारे ##...##

जादू से बड़कर है इसका शृंगार
करेगी ये साजन से जब आँखें चार
होगा समा एक वो भी निराला
बैठी है एक ब्रज कि बाला
जमना किनारे हाँ जमना किनारे ##...##

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