ACZoom Home E-mail ITRANS ITRANS Song Book

% adam02.s isongs output
\stitle{ai maigusaaro.n savere savere}
\lyrics{Abdul Hamid 'Adam'}
\singers{Abdul Hamid Adam}



ऐ मैगुसारों सवेरे सवेरे
ख़राबात के गिर्द फेरे पे फेरे

बड़ी रोशनी बख़्शते हैं नज़र को
तेरे गेसूओं के मुक़द्दस अँधेरे

किसी दिन इधर से गुज़र कर तो देखो
बड़ी रौनक़ें हैं फ़क़ीरों के डेरे

ग़म-ए-ज़िंदगी को "आदम" साथ लेकर
कहाँ जा रहे हो सवेरे सवेरे