ACZoom Home E-mail ITRANS ITRANS Song Book

% aqasmi06.s isongs output
\stitle{jab teraa hukm milaa, tark muhabbat kar dii}
\lyrics{Ahmed Nadeem Qasmi}
\singers{Ahmed Nadeem Qasmi}



जब तेरा हुक्म मिला, तर्क मुहब्बत कर दी
दिल मगर इस पे वो धढ़का, कि क़यामत कर दी

तुझसे किस तरह मैं इज़हार-ए-तमन्ना करता
लफ़्ज़ सूझा तो म'आनी ने बग़ावत कर दी

मैं तो समझा था कि लौट आते हैं जाने वाले
तूने जाकर तो जुदाई मेरी क़िस्मत कर दी

मुझको दुश्मन के इरादों पे भी प्यार आता है
तेरी उल्फ़त ने मुहब्बत मेरी आदत कर दी

पूछ बैठा हूँ, मैं तुझसे, तेरे कूचे का पता
तेरी हालत ने कैसी तेरी सुरत कर दी