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% daag14.s isongs output
\stitle{ye jo hai hukm mere paas na aaye ko_ii}
\singers{Daag Dehlvi}



ये जो है हुक्म मेरे पास न आये कोई
इस लिये रूठ रहे हैं कि मनाये कोई

ताक में है निगह-ए-शौक़ ख़ुदा ख़ैर करे
सामने से मेरे बचता हुआ जाये कोई

हाल अफ़लाक़-ओ-ज़मीं का जो बताया भी तो क्या
बात वो है जो तेरे दिल की बाताये कोई

%[afalaaq = sky]

आपने 'डाग' को मूँह भी न लगाया अफ़्सोस
उस को रखता था कलेजे से लगाये कोई

हो चुका ऐश का जलसा तो मुझे ख़त भेजा
आप की तरह से मेहमान बुलाये कोई