ACZoom Home | ITRANS | ITRANS Song Book |
% daag17.s isongs output
\stitle{rasm-e-ulfat sikhaa gayaa ko_ii}
\singers{Daag Dehlvi}
रस्म-ए-उल्फ़त सिखा गया कोई
दिल की दुनिया पे छा गया कोई
ता क़यामत किसी तरह न बुझे
आग ऐसी लगा गया कोई
दिल की दुनिया उजाड़ सी क्यूँ है
क्या यहाँ से चला गया कोई
वक़्त-ए-रुख़्सत गले लगा कर "डाग"
हँसते हँसते रुला गया कोई