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% eliya04.s isongs output
\stitle{aKhlaaq na barte.nge mudaaraa na kare.nge}
\singers{Jaun Eliya #4}
% Contributed by Muhammed Shahid Rizwan



अख़्लाक़ न बर्तेंगे मुदारा न करेंगे
अब ह्म किसी शख़्स की परवाह न करेंगे

कुछ लोग कई लफ़्ज़ गलत बोल रहे हैं
इसलाह मगर हम भी अब इसलाह न करेंगे

%[isalaah = correction]

कम्गोई के एक वस्फ़-ए-हिमाक़त है बहर तो
कम्गोई को अपनायेंगे चहका न करेंगे

अब सहल पसंदी को बनाएंगे वतीरा
ता देर किसी बाब में सोचा न करेंगे

ग़ुस्सा भी है तहज़ीब-ए-त'ल्लुक़ का तलबगार
हम छुप हैं बहरे बैठे हैं ग़ुस्सा न करेंगे

कल रात बहुत गूर किया है सो हम ऐ "ज़ौन"
तय कर के उठे हैं के तमन्ना न करेंगे