% tabassum05.s isongs output
\stitle{tujhako aate hii nahii.n chhupane ke a.ndaaz abhii}
\singers{Sufi Ghulam Mustafa Tabassum #5}
तुझको आते ही नहीं छुपने के अंदाज़ अभी
मेरे सीने में हैं लर्ज़ाँ तेरि आवाज़ अभी
उस ने देखा ही नहीं दर्द का आग़ाज़ अभी
इश्क़ को अपनी तमन्नाओं पे है नाज़ अभी
तुझको मंज़िल पे पहुँचने का है दावा हम-दम
मुझको अंजाम नज़र आता है आग़ाज़ अभी
किस क़दर गोश-बर-आवाज़ है ख़ामोशी-ए-शब
कोई नाला कि है फ़रियाद का का दर-बाज़ कोई
मेरे चेहरे की हँसी रंग-ए-शिकस्ता मेरा
तेरे अश्कों में "टबस्सुम" का है अंदाज़ अभी